केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ पंजाब विधानसभा में बिल पेश, यह है प्रावधान
चंडीगढ़। कृषि कानूनों को लेकर लगातार हो रहे विरोध प्रदर्शन के बीच पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने मंगलवार को विधानसभा में एक मसौदा प्रस्ताव प्रस्तुत किया। इस बिल में फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य ना मिलने पर तीन वर्ष के कारवास या फिर फाइन का प्रावधान किया गया है। [caption id="attachment_441776" align="aligncenter" width="700"] केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ पंजाब विधानसभा में बिल पेश, यह है प्रावधान[/caption] यह भी पढ़ें- सेना की ताकत बढ़ी, सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस का सफल परीक्षण यह भी पढ़ें- चंबा में दर्दनाक हादसा, चार लोगों की मौत मुख्यमंत्री ने एक प्रस्ताव व कुल चार एक्ट आज विधानसभा में पेश किए। उन्होंने सभी दलों से विधानसभा में सर्वसम्मति से अपनी सरकार के ऐतिहासिक विधेयकों को पारित करने का आग्रह किया है। [caption id="attachment_441778" align="aligncenter" width="700"] केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ पंजाब विधानसभा में बिल पेश, यह है प्रावधान[/caption] गौर हो कि केंद्र के कृषि कानूनों का लगातार पंजाब-हरियाणा में विरोध हो रहा था। इस विरोध के बीच पंजाब सरकार ने विधानसभा का विशेष सत्र बुलाया और इन बिलों को पेश किया। [caption id="attachment_441775" align="aligncenter" width="700"] केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ पंजाब विधानसभा में बिल पेश, यह है प्रावधान[/caption] आपको बता दें कि देशभर में पंजाब ऐसा पहला राज्य बन गया है जिसने केंद्र के कृषि बिलों के खिलाफ बिल लाया है। देखना होगा कि प्रदर्शनकारी किसान इस बिल पर क्या प्रतिक्रिया देते हैं।