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आज पूरे देश में बापू की 135वीं जयंती (Mahatma Gandhi birth anniversary) मनाई जा रही है। देशभर में कई प्रकार के कार्यक्रम आयोजित किया जा रहे हैं। महात्मा गांधी देश ने भारत के स्वतंत्रता संग्राम की अगुवाई की थी और भारत को गुलामी की जंजीरों से आजाद करवाया था।
आज गांधी जयंती के मौके पर राजघाट पर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देने के लिए नेताओं का जमावड़ा लगा है। महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देने के लिए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राजघाट (Rajghat) पहुंचे। पीएम ने बापू को नमन करने के साथ ही लोगों से खादी और हस्तशिल्प उत्पाद खरीदने की भी अपील की। कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी और पार्टी के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे भी रविवार सुबह राजघाट पहुंचे।
महात्मा गांधी का जन्म गुजरात के पोरबंदर में 2 अक्टूबर 1869 को पोरबंदर में हुआ था। संयुक्त राष्ट्र ने भी बापू को याद कर अंतरराष्ट्रीय अहिंसा दिवस पर दुनिया को संदेश दिया। अहिंसा के समर्थक रहे बापू के जन्मदिन को अंतरराष्ट्रीय अहिंसा दिवस के रूप में मनाया जाता है। 2007 में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने इसकी घोषणा की थी।
गांधी जी भारत की आजादी की लड़ाई में 1915 में साउथ अफ्रीका से वापस लौटने पर शामिल हुए। आजादी की जंग उसके कई दशक पहले से चल रही थी, कांग्रेस के साथ कई छोटे-छोटे दल अंग्रेजों से लोहा ले रहे थे, लेकिन गांधी जी की एंट्री ने भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन में जबरदस्त जान फूंकी। उन्होंने सबसे पहला आंदोलन चंपारण में नील की खेती करने वाले किसानों के लिए किया था। इसके बाद गांधी देशभर में लोगों के नेता बन गए।
उन्हें 5 बार नोबल पुरस्कार के लिए नामित किया गया था। 1948 में पुरस्कार मिलने से पहले ही उनकी हत्या हो गई। साल 1930 में उन्हें अमेरिका की टाइम मैगजीन ने Man Of the Year से उपाधि से नवाजा था।