हिमाचल : बर्बादी के कगार पर पहुंची फसलों को मिली बारिश की संजीवनी

हिमाचल प्रदेश में काफी समय से बारिश न होने की वजह से राज्य में गेंहूं, जौ और मटर जैसी रबी की फसल बर्बादी की कगार पर पहुँच चुकी थी, लगभग 35 फसल बर्बाद हो चुकी है। वहीं इन दिनों लगातार बारिश होने की वजह से कई जिलों में बची फसलों में को फिर से लहलहाने की उम्मीद जग गई है।

By  Jainendra Jigyasu March 8th 2023 09:48 PM

हिमाचल प्रदेश में  काफी समय से बारिश न होने की वजह से  राज्य में गेंहूं, जौ और मटर जैसी रबी की फसल बर्बादी की कगार पर पहुँच चुकी थी, लगभग 35 फसल बर्बाद हो चुकी है। वहीं इन दिनों लगातार बारिश होने की वजह से कई जिलों में बची फसलों में को फिर से लहलहाने की उम्मीद जग गई है। बारिश से किसान अब सेब के पौधों में यूरिया, कैल्शियम नाइट्रेट, यारामिला कांप्लेक्स खाद डालने में जुट गए। सूखे के कारण बागवान सेब के पौधों में नाइट्रोजन और पोटाश नहीं डाल पाये थे।

राज्य के 5 जिलों में मंडी, हमीरपुर, बिलासपुर, सिरमौर और प्रदेश की राजधानी शिमला में करीब 35 फीसदी तक रबी की फसल बर्बाद हो चुकी है, जिसकी वजह से किसानों को 9,462 लाख रुपये तक का नुकसान हुआ है। बारिश ना होने का सबसे ज्यादा असर गेहूं, जौ और मटर की फसल पर पड़ा है।  लेकिन मौजूदा समय में हो रही बारिश जहां बर्बाद होरही फसलों और सेब, बादाम, आड़ु, खुबानी, पलम, ब्लैक अंबर, मटर,गंदम व सब्जी उत्पादन में संजीवनी  का काम कर रही हैं,तथा जितनी बारिश होगी उतना ही सेब की फसल को फायदा पहुंचेगा व किसानों,बागवानों को आर्थिक लाभ भी होगा।


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