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राजीव गांधी के हत्यारे जेल से होंगे आजाद, SC ने सभी 6 दोषियों को छोड़ने के आदेश दिए

Written by  Vinod Kumar -- November 11th 2022 02:55 PM
राजीव गांधी के हत्यारे जेल से होंगे आजाद, SC ने सभी 6 दोषियों को छोड़ने के आदेश दिए

राजीव गांधी के हत्यारे जेल से होंगे आजाद, SC ने सभी 6 दोषियों को छोड़ने के आदेश दिए

देश की सर्वोच्च अदालत ने पूर्व पीएम राजीव गांधी की हत्या के मामले में जेल में उम्र कैद की सजा काट रहे नलिनी श्रीहरन और रविचंद्रन समेत सभी 6 दोषियों को रिहा करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने अपने आदेश में साफ कहा कि अगर इन दोषियों पर कोई दूसरा मामला नहीं है, तो इन्हें रिहा कर दिया जाए।

इस मामले में 18 मई को सुप्रीम कोर्ट ने एक और दोषी पेरारिवलन की रिहाई के आदेश दिए थे, बाकी दोषियों ने भी इसी आदेश का हवाला देकर अपनी रिहाई के लिए सुप्रीम कोर्ट अपील दायर की थी। जस्टिस बीआर गवई और नागरत्ना की बेंच ने कहा कि मामले के दोषियों में से एक दोषी एजी पेरारिवलन के मामले में शीर्ष अदालत का पहले दिया गया फैसला इन दोनों के मामले में भी लागू होता है।


सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद राजीव गांधी हत्याकांड में शामिल नलिनी, जयकुमार, रविचंद्रन, मुरुगन, संथन और रॉबर्ट पॉयस को रिहा करने के आदेश दिया है। पेरारिवलन पहले ही इस मामले में रिहा हो चुके हैं।  

बता दें कि 21 मई 1991 की रात राजीव गांधी की तमिलनाडु के श्रीपेरुंबदूर में एक चुनावी सभा के दौरान हत्या कर दी गई थी। धानु नाम की एक महिला इसके लिए आत्मघाती हमलावर बनकर आई थी। महिला ने शरीर पर बंधे बम का धमाका कर राजीव गांधी की हत्या कर दी थी। 

इस पूरी साजिश में नलिनी की को मृत्युदंड की सजा सुनाई गई थी जिसे 2001 में यह देखते हुए उम्र कैद में बदल दिया गया था कि उसकी एक बेटी भी है। इस हादसे में 18 लोगों की मौत हुई थी।  

इस केस में कुल 41 लोगों को आरोपी बनाया गया था। 12 लोगों की मौत हो चुकी थी और तीन फरार हो गए थे। कुल 26 आरोपियों को पुलिस ने पकड़ा था। आरोपियों में भारतीयों के साथ श्रीलंका के नागरिक भी शामिल थे। लिट्टे प्रमुख प्रभाकरण, पोट्टू ओम्मान और अकीला फरार हो गए थे। लंबी कानूनी प्रक्रिया के बाद 28 जनवरी 1998 को टाडा कोर्ट ने सभी 26 आरोपियों को मौत की सजा सुनाई थी। एक साल बाद सुप्रीम कोर्ट की तीन जजों की पीठ ने इस टाडा कोर्ट के फैसले को पलटते हुए सुप्रीम कोर्ट ने 26 में से 19 दोषियों को रिहा कर दिया। सिर्फ 7 दोषियों की फांसी की सजा को बरकरार रखा था. बाद में इसे  उम्रकैद में बदल दिया गया था। 


- PTC NEWS

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