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जेएनयू में रामनवमी पर वैज-नॉन वेज खाने को लेकर विवाद, डेढ़ दर्जन छात्र घायल

Reported by:  PTC News Desk  Edited by:  Vinod Kumar -- April 11th 2022 10:48 AM -- Updated: April 11th 2022 10:49 AM
जेएनयू में रामनवमी पर वैज-नॉन वेज खाने को लेकर विवाद, डेढ़ दर्जन छात्र घायल

जेएनयू में रामनवमी पर वैज-नॉन वेज खाने को लेकर विवाद, डेढ़ दर्जन छात्र घायल

JNU मामले में लेफ्ट और राईट विंग के छात्रों में रामनवमी के मौके पर नॉन वेज खाने को लेकर विवाद हो गया। ये विवाद खूनी झड़प में बदल गया। इस झड़प में लगभग डेढ़ दर्जन छात्र घायल हुए हैं। पुलिस ने लेफ्ट विंग के छात्रों की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है। दिल्ली पुलिस ने एबीवीपी समर्थित अज्ञात छात्रों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है, जिसमें आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 323/341/509/506/34 लगाई गई हैं। ये शिकायत जेएनयू छात्रसंघ के सदस्यों द्वारा पुलिस को दी गई थी, जिसमें एसएफआई, डीएसएफ और एआईएसए समर्थित छात्र शामिल हैं। पुलिस का ये भी कहना है कि एबीवीपी के छात्रों ने भी आज सुबह शिकायत देने की बात कही है। ABVP, Left clash in JNU on Ram Navami क्यों हुआ विवाद रामनवमी के मौके पर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) ने हवन का आयोजन किया था। वहीं, लेफ्ट छात्रों ने कावेरी हॉस्टल में नॉन वेज खाने की दावत दी थी। इसी बात को लेकर दोनों विंग आपस में भिड़ गए। राइट विंग के छात्र हवन के दौरान वाम दलों के छात्रों पर बाधा डालने का आरोप लगा रहे थे, जबकि वाम छात्र संगठन हॉस्टल में एबीवीपी छात्रों द्वारा नॉन वेज खाना परोसने से रोकने का आरोप लगा रहे हैं। कावेरी हॉस्टल में आखिर हुआ क्या था? एबीवीपी ने रविवार को कावेरी हॉस्टल में हवन का आयोजन किया था। दूसरी तरफ वाम छात्र संगठनों ने आरोप लगाया कि एबीवीपी छात्रावास में नॉन वेज खाना नहीं बनाने दे रहे हैं। जबकि मेन्यू के अनुसार नॉन वेज बनने का दिन है। शनिवार से ही गरमाने लगा था मुद्दा नॉन वेज खाने का मुद्दा शनिवार से गरमाना शुरू हुआ था। छात्रावास में रहने वाले छात्रों के अनुसार, सप्लायर रविवार को हॉस्टल में आए थे लेकिन एबीवीपी कार्यकर्ताओं ने कथित तौर पर उन्हें वापस लौटा दिया था। इसके बाद लेफ्ट विंग के छात्रों ने मीटिंग बुलाकर इसका विरोध किया और इसे 'राइड टू फूड' का उल्लंघन बताया। ABVP, Left clash in JNU on Ram Navami इस घटना पर एबीवीपी के जेएनयू के अध्यक्ष रोहित कुमार का कहना है कि ये विवाद बनाया गया है। पूजा 3:30 बजे थी लेकिन इनके विरोध के कारण शाम 5:30 बजे शुरू हुई। और फिर 8:30 बजे लेफ्ट का हुजूम आता है। पत्थरबाजी करता है। इसमें हमारे कई छात्र घायल हुए। एक भी हमला करने वालों में कावेरी का नहीं था। वेंडर को धमकाने की बात पर एबीवीपी के जेएनयू के अध्यक्ष ने कहा कि जेएनयू में इफ्तार पार्टी में कभी चिकन नहीं बना है। कस्टर्ड, मिठाई, फल खिलाए जाते हैं। जब मुसलमानों को दिक्कत नहीं, हिंदुओं को दिक्कत नहीं तो तीसरा लेफ्टिस्ट क्यों आते हैं कम्यूनल हारमोनी डिस्टर्ब करने। चिकन बनना मेस सेक्रेटरी तय करता है। ये सिर्फ एबीवीपी का नाम लेकर जेएनयू को बदनाम करने के लिए किया जा रहा है। एबीवीपी से जुड़े कुछ दूसरे छात्रों का कहना है कि हिन्दू मुस्लिम का एंगल देने के लिए ऐसा किया गया है। वहीं दूसरी ओर जेएनयू के पूर्व अध्यक्ष एन साई बाला जी का कहना है कि हमारे साथ मारपीट की गयी, हमें मारा गया है। ये सारी घटना SHO के सामने हुई ,लेकिन उन्होंने कुछ नहीं किया। जिसको जो खाना है खाएगा। देश में कब किसी को रामनवमी पर मीट खाने से रोका गया जिसको खाना है खाएंगे। आप मत खाइए। हम पर मत थोपिए। वहीं लेफ्ट विंग से जुड़े छात्र ओसामा और रागिव जो कावेरी हॉस्टल में रहते हैं इनका दावा है कि पहले वेंडर चिकन लेके आता है। फिर एबीवीपी के द्वारा उसे घमकाया जाता है। कावेरी हस्टल के गेट को बंद कर दिया जाता है। उसके बाद सारी घटना है। मारपीट में हमारे कई छात्र घायल हुए। कावेरी हॉस्टल फिजिकली हैंडीकैप्ड हॉस्टल है।


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