कुमारी सैलजा ने सरकार की विदेश नीति पर उठाए सवाल, बोलीं- क्या शेष भारतीय बाइज़्ज़त स्वदेश वापस लौटने की उम्मीद कर सकते हैं !
ब्यूरो: अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की महासचिव, पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं सिरसा की सांसद कुमारी सैलजा ने कहा है कि भारत और अमेरिका के बीच मजबूत राजनयिक और आर्थिक संबंधों की दुहाई देने वाली केंद्र सरकार जब हमारे ही नागरिकों का अपमान होता है, तो चुप्पी साध लेती है। भारतीयों को अमेरिका से हथकड़ी और पांव में बेड़ी पहनाकर भेज दिया गया, जो कि पूरी तरह से अमानवीय और अपमानजनक है। क्या केंद्र सरकार शेष भारतीयों को अपने हवाई जहाज भेजकर सम्मान वापस लेकर आएगी !
मीडिया को जारी बयान में कुमारी सैलजा ने केंद्र सरकार पर तीखा हमला करते हुए सरकार की विदेश नीति पर सवाल उठाते हुए कहा कि भारतीय नागरिकों को अमानवीय तरीके से अमेरिका से वापस भेजने की प्रक्रिया पर सरकार को जवाब देना चाहिए। महिलाओं सहित भारतीय नागरिकों को हथकड़ी और पांव में जंजीर डालकर भारत भेजा गया जो भारत मां के सीने को छलनी करने जैसा है। कुमारी सैलजा ने कहा कि डंकी रूट से भारतीय को विदेश भेजने वाले एजेंटों के खिलाफ सरकार को कठोर कार्रवाई करनी चाहिए ताकि रोजगार की तलाश में विदेश जाने वाले लोगों के साथ धोखा न हो और अंत में देश को शर्मसार न होना पड़े। देश के हर शहर और कस्बों में दुकान सजाकर बैठे एजेंटों पर कार्रवाई की जाए चाहे वह कितना ही प्रभावशाली क्यों न हो।
कुमारी सैलजा ने कहा कि अभी तक जो खबर सामने आ रही है उसके अनुसार करीब सात लाख भारतीय डंकी रूट से गए है जिनमें हरियाणा राज्य के लोगों की संख्या सबसे अधिक बताई जा रही है। क्या केंद्र सरकार अपने हवाई जहाज भेजकर ससम्मान उन्हें भारत लेकर आएगी। कुमारी सैलजा ने कहा कि जिस प्रकार से अमेरिकी सरकार ने भारतीय को वापस भेजते समय जो व्यवहार किया है उसे लेकर अमेरिकी सरकार के समक्ष अपना विरोध व्यक्त करना चाहिए। अपने हित साधने के लिए सरकार देश का सम्मान गिरवी नहीं रख सकती।
कुमारी सैलजा ने कहा कि कोलंबिया जैसा देश जब अमेरिका को आंख दिखा सकता है तो भारत क्यों नहीं। सांसद ने कहा कि केंद्र सरकार लोगों को सपना दिखा रही है कि भारत विश्वगुरु बनने जा रहा है। महिलाओं एवं बच्चों को अमानवीय व्यवहार से बचाने के लिए सरकार ने कुछ नहीं किया, सरकार की चुप्पी से देश विश्वगुरू बनने वाला नहीं है। इस मामले में केंद्र सरकार की ओर से जो भी बयान आया है वह लीपापोती के सिवाय कुछ भी नहीं है। सांसद ने इस पर आपत्ति नहीं जताने के लिए केंद्र सरकार की कड़ी आलोचना की।
- With inputs from agencies